पटना। द न्यूज़। केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण राज्य मंत्री अश्विनी कुमार चौबे ने कहा कि पूरे विश्व में फैले हुए कोरोना महामारी के विरुद्ध भारत ने निर्णायक लड़ाई छेड़ दी है जिसका श्रेय हमारे यशस्वी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा समय पर लिए गए उचित निर्णय और भारत के वैज्ञानिकों, चिकित्सकों और स्वास्थ्य कर्मियों को जाता है। जुलाई तक देश मे 8 वैक्सीन तैयार हो जाने की उम्मीद है।
श्री चौबे आज पटना एम्स में को-वैक्सीन ट्रायल में योगदान करने वालों के लिए आयोजित सम्मान समारोह मे बोल रहे थे जिसमे को-वैक्सीन ट्रायल के बारे में विभिन्न माध्यमों से और नुक्कड़ नाटक के माध्यम से पूरे बिहार में जागरूकता फैलाने में उत्कृष्ट कार्य करने वालों को सम्मानित करते हुए प्रशस्ति पत्र दिया गया।मुख्य अतिथि के तौर पर केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण राज्य मंत्री अश्विनी कुमार चौबे ने एम्स पटना के सभी फैकल्टी सदस्यों और कर्मचारियों को उनके योगदान के लिए प्रशंसा करते हुए धन्यवाद दिया। श्री चौबे ने कहा कि इस महामारी के समय कोरोना वैक्सिंग के ट्रायल और कोरोना तथा इसके वैक्सीन के बारे में जागरूकता फैलाने का अद्भुत काम किया है। महामारी के समय इसके बारे में जागरूकता बढ़ाने, लोगों का इलाज करने के लिए सभी स्वास्थ्य कर्मी, वैज्ञानिक और दूसरे क्षेत्रों के व्यक्ति प्रशंसा के पात्र हैं जिन्होंने इस महामारी को एक अवसर में बदल दिया। इन सबके प्रयास से स्वास्थ्य के क्षेत्र में भारत एक स्वावलंबी देश के रूप में उभर रहा है।
श्री चौबे ने कहा यशस्वी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के दूरदर्शी और प्रोएक्टिव कदम से डॉक्टरों, वैज्ञानिकों और हमारे स्वास्थ्य कर्मियों को एक स्पष्ट दिशा और प्रोत्साहन मिला जिसके कारण इस महामारी से लड़ने में आज हम विश्व में अग्रणी साबित हो रहे हैं। आज भारत मे कोरोना वैक्सीन के निर्माण और विकास में 7 कंपनियां लगी हुई है। दो वैक्सीन मार्केट में उपलब्ध हो गए हैं और उम्मीद है कि जून-जुलाई तक आठ वैक्सीन उपलब्ध हो जाएंगे। तीसरे वैक्सीन पर अगले महीने सहमति मिल जाएगी।
श्री चौबे ने कहा कि वसुधैव कुटुंबकम हमारी नीति रही है और हमने 20 लाख कोरोना वैक्सीन का डोज़ ब्राज़ील को दिया जो दुनिया के सर्वाधिक कोरोना प्रभावित देशों में रह है। इस पर धन्यवाद देते हुए ब्राजील के राष्ट्रपति जैर बोलसोनारो ने स्वयं वसुधैव कुटुंबकम का उल्लेख किया। भारत सदैव से अपने पड़ोसियों और अन्य जरूरतमंद देशों को सहायता करने के लिए जाना जाता रहा है जिसको मोदी सरकार आगे बढ़ा रही है। यशस्वी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के इस नारे का आज और ज्यादा महत्व हो गया है कि “जय जवान- जय किसान-जय विज्ञान और जय अनुसंधान”। इस नीति को केंद्र में रखकर भारत अब एक नए भारत बनने की ओर अग्रसर है।
कार्यक्रम के आरंभ में केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण राज्य मंत्री अश्विनी कुमार चौबे का स्वागत एम्स पटना के निदेशक डॉ पी के सिंह ने किया। इसके उपरांत एम्स के निदेशक प्रोफेसर डॉ सी एम सिंह ने कोरोना वैक्सीन के ट्रायल में एम्स पटना के डॉक्टरों के योगदान के बारे में विस्तार से बताया उन्होंने कहा कि भारत में यह पहला संस्था रहा जिसमें इस वैक्सीन का मानव पर ट्रायल हुआ। इसमें फर्स्ट फेज में 44 लोगों पर दूसरे फेज में 46 लोगों पर और तीसरे फेज में 1216 लोगों पर इसका ट्रायल हुआ।
आज के समापन कार्यक्रम में केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण राज्य मंत्री अश्विनी चौबे, निदेशक डॉ पी के सिंह, डीन डॉ उमेश कुमार भदानी, चिकित्सा अधीक्षक डॉ सी एम सिंह, कोविड के नोडल ऑफिसर डॉ संजीव कुमार, डॉ अविनाश सिंह, डॉक्टर संजय पांडेय, डॉक्टर लोकेश तिवारी, डॉक्टर मुक्ता अग्रवाल, डॉक्टर देवेंद्र भूषण, डॉक्टर प्रशांत, डॉक्टर योगेश, अन्य फैकेल्टी सदस्यों और कर्मचारियों का धन्यवाद ज्ञापन उप निदेशक, प्रशासन परिमल सिन्हा ने किया।